जम्मू कश्मीर के पहलगाम में आतंकवादी हमले के बाद भारत-पाकिस्तान के बीच तनाव देखने को मिल रहा है. दुनिया को पाकिस्तान अपनी मजबूत स्थिति दिखाने में लगा है. वहीं अंदर से पाकिस्तान टूट चुका है.
जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान में खौफ है. उसे आशंका है कि भारत कभी भी उस पर हमला कर सकता है. कंगाली की हालात में लड़ना उसके लिए बेहद मुश्किल है. दुनिया को दिखाने के लिए पाकिस्तान मिसाइल टेस्ट कर रहा है और तरह-तरह की गीदड़भभकियां दे रहा है. लेकिन हकीकत यह है कि उसके पास लड़ने के लिए पर्याप्त गोला बारूद भी नहीं है. खुफिया रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान के पास अब इतना भी गोला-बारूद नहीं बचा है कि वह किसी बड़े युद्ध में महज चार दिन भी टिक सकता है.
सैन्य तैयारियां बेहद कमजोर हालात में हैं
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, चौंकाने वाला खुलासा हुआ है कि पाकिस्तान की सैन्य तैयारियां बेहद कमजोर हालात में हैं. अगर भारत-पाकिस्तान के बीच युद्ध जैसे हालात पैदा होते हैं तो पाकिस्तान के पास सिर्फ तीन-चार दिन तक लड़ने के लायक गोला बारूद है. रिपोर्ट्स के अनुसार, पाकिस्तान ने हाल के माह में भारी मात्रा में गोला बारूद यूक्रेन और इजरायल को निर्यात किया. इसका नतीजा यह हुआ कि पाकिस्तान के पास खुद के लड़ने के लिए गोला बारूद नहीं बचा है.
हथियार निर्यात आय 1.3 करोड़ डॉलर से बढ़ी
फरवरी से मार्च 2023 के आंकड़े उठाएं तो पाकिस्तान ने करीब 42,000 बीएम-21 रॉकेट, 60 हजार 155 एमएम हॉवित्जर शेल्स और 1.3 लाख 122 एमएम रॉकेट यूक्रेन को निर्यात किया. इससे उसे 36.4 करोड़ डॉलर की कमाई हुई. ऐसा बताया जा रहा है कि इसमें 80 प्रतिशत राशि सीधे रावलपिंडी स्थित पाकिस्तान आर्मी हेडक्वार्टर में चली गई. इस वर्ष पाकिस्तान की हथियार निर्यात आय 1.3 करोड़ डॉलर से बढ़ी. यह 41.5 करोड़ डॉलर तक पहुंची.
अब इस कमजोर होते सैन्य हालात के बीच पहलगाम में हुए हालिया आतंकी हमले के बाद से पाकिस्तान सहमा हुआ है. उसे डर है कि कहीं उसकी पोल न खुल जाए. ऐसे में अब सीधी जंग लड़ने की हिम्मत उसके पास नहीं है. आंकड़ों से यह साफ पता चलता है कि पाकिस्तान की सेना इस समय बेहद कमजोर स्थिति में है. भारत ने लगातार अपनी सैन्य क्षमताओं को ताकत दी है. राफेल, स्वदेशी तेजस या फिर एडवांस्ड मिसाइल सिस्टम भारत की बड़ी ताकत बने हैं. भारत सामरिक दृष्टि से कहीं अधिक मजबूत हुआ है.